गांधीनगर: वित्त मंत्री कनुभाई देसाई गुजरात विधानसभा में वर्ष 2023-24 का बजट पेश कर रहे हैं. भूपेंद्र पटेल सरकार का यह दूसरा बजट है. गुजरात सरकार ने इस साल 3 लाख 1 हजार 22 करोड़ का बजट पेश किया गया है. अब बजट पर कांग्रेस की पहली प्रतिक्रिया सामने आई. नेता प्रतिपक्ष अमित चावड़ा ने कहा कि चुनाव के बाद सरकार जनता को भूल चुकी है.
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कांग्रेस नेता अमित चावड़ा ने कहा कि जब राज्य में 156 सीटों वाली सरकार ने अमृतकाल का बजट पेश किया है. लेकिन लोगों के लिए बजट में किसी प्रकार का अमृत नहीं है. इसके अलावा उन्होंने कहा कि किसानों को उम्मीद थी कि उनकी आय दोगुनी हो जाएगी, लेकिन इस बजट से किसान कंगाल हो जाएंगे. इसके अलावा किसानों का आर्थिक कर्ज माफ करने का कोई प्रावधान नहीं है. उन्होंने कहा कि गुजरात के युवाओं को नई भर्ती और रोजगार की उम्मीद थी लेकिन सरकार ने रोजगार के लिए कोई योजना या कोई बड़ी घोषणा नहीं की है. राज्य में बढ़ती महंगाई के मुद्दे पर अमित चावड़ा ने कहा कि राज्य के बजट में महंगाई कम करने का कोई प्रावधान नहीं है, इसलिए मध्यम वर्ग को इस बजट से निराशा ही हाथ लगी है.
प्रदेश कर्ज में डूबा है, लेकिन नहीं की जा रही बात: अमित चावड़ा
गुजरात विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष अमित चावड़ा बजट को लेकर भूपेंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए आगे कहा कि राज्य कर्ज में डूबा हुआ है लेकिन इसके बारे में कोई बात नहीं कर रहा और बड़े आकंड़े का मायाजाल बुना जा रहा है. राज्य में पुरानी पेंशन योजना को लागू करने के लिए सरकार द्वारा कर्मचारियों से किए गए वादे भी इस बजट में पूरे नहीं किए गए हैं. इसके अलावा गुजरात के पृथक कर्मचारियों की मांगें पूरी नहीं की गईं और आशा कार्यकर्ता बहनें, आंगनबाड़ी बहनों व नियत वेतन कर्मियों की मांगों को भी सरकार ने पूरी तरह से अनदेखा कर दिया है. बजट में चुनाव में दिखाए गए तमाम सपने चकनाचूर हो गए हैं.
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