नई दिल्ली: लोकसभा चुनाव से काफी पहले मोदी सरकार को टक्कर देने के लिए विपक्ष एकजुट होने की कोशिश कर रही है. ममता बनर्जी पहले ही थर्ड फ्रंट बनने का वकालत कर चुकी हैं. जिसके बाद सवाल उठने के लगा है कि आखिर बीजेपी के खिलाफ बनने वाले थर्ड फ्रंट का नेतृत्व कौन करेगा? इसके अलावा तीसरे मोर्चा में कौन-कौन सी पार्टियां शामिल होंगी. इस बीच जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री का विपक्षी एकता को लेकर बड़ा बयान सामने आया है.
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DMK द्वारा विपक्षी एकता को जोर देने के सवाल पर जम्मू-कश्मीर के पूर्व CM फारूक अब्दुल्ला ने चेन्नई में मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि भारत विविधता में एकता का देश है, अगर हम विविधता की रक्षा करेंगे तो हम एकता की रक्षा करेंगे और इसलिए मुझे लगता है कि कश्मीर से कन्याकुमारी तक भारत को एकजुट करने की कोशिश अच्छी शुरूआत है.
इसके अलावा एमके स्टालिन का पीएम उम्मीदवारी पर फारूक अब्दुल्ला ने कहा कि “क्यों नहीं? वह पीएम क्यों नहीं बन सकते? इसमें गलत क्या है?” जब हम सभी एकजुट होंगे और जीतेंगे, उस समय तय करेंगे कि इस देश का नेतृत्व करने और एकजुट करने के लिए सबसे अच्छा व्यक्ति कौन है.
तानाशाह सरकार को हटाने के लिए हम सब भूलने को तैयार-कांग्रेस
इससे पहले कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने नीतीश कुमार के बयान पर कहा था कि कांग्रेस भी विपक्षी एकता को लेकर उतनी ही चिंतित है. राहुल गांधी और कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने कई मौकों पर कहा कि मौजूदा हालात में कांग्रेस अकेले इस सरकार से नहीं लड़ सकती. इसके अलावा उन्होंने ने कहा कि कांग्रेस किसी भी कीमत पर लड़ेगी. हमें इस अलोकतांत्रिक, तानाशाही सरकार के खिलाफ लड़ने के लिए विपक्षी एकता की जरूरत है.
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