सूडान में चल रहे गृहयुद्ध के चलते वहां की स्थिति बेहद नाजुक बनी हुई है. लगातार हो रही फायरिंग और गोलाबारी के चलते जीवन की बुनियादी जरूरत की चीजें भी खत्म हो गईं हैं. इस बीच जानकारी सामने आ रही है कि सूडान में रैपिड सपोर्ट फोर्स, सैन्य और अर्धसैनिक बलों ने संघर्ष विराम के लिए सहमति व्यक्त की है. दोनों पक्ष सोमवार आधी रात से संघर्षविराम पर राजी हो गए हैं. दोनों पक्षों ने अपनी तरफ से युद्धविराम का ऐलान कर दिया है.
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अमेरिकी विदेश मंत्री एंथोनी ब्लिंकेन के मुताबिक सेना और रैपिड फोर्स के बीच 48 घंटे की बातचीत के बाद संघर्षविराम पर सहमति बनी है. सूडान में इन दोनों के बीच संघर्ष में अब तक 400 लोगों की मौत हो चुकी है. दोनों के बीच 15 अप्रैल को संघर्ष शुरू हुआ और बाद में सशस्त्र संघर्ष में बदल गया.
इस बीच संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने चेतावनी दी है कि अगर सूडान में हिंसा बढ़ी तो आग पूरे क्षेत्र को अपनी चपेट में ले लेगी. इसकी लपटें बाहरी देशों तक भी फैलेंगी. राजधानी खार्तूम के युद्धग्रस्त क्षेत्रों में लोगों को संघर्ष शुरू होने के बाद से ही अपने घरों में रहने के लिए कहा गया है. लगातार संघर्ष की वजह से अब भोजन और पानी की किल्लत का लोगों को सामना करना पड़ रहा है.
उम्मीद है कि संघर्षविराम की घोषणा के बाद स्थिति में कुछ सुधार होगा. युद्धविराम से पहले, पानी के पाइप सहित महत्वपूर्ण बुनियादी ढाँचा बुरी तरह क्षतिग्रस्त हो गया है. पानी के पाइप खराब होने के कारण लोग सीधे नदी का पानी पीने को विवश हैं. संघर्षविराम की घोषणा के बाद लोगों में उम्मीद जगी है कि वे यहां से सुरक्षित निकल सकेंगे. इससे पहले कई देशों ने अपने राजनयिकों और अन्य कर्मियों को वापस बुला लिया था.
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