कर्नाटक में कांग्रेस की प्रचंड जीत के साथ ही मुख्यमंत्री पद को लेकर मंथन शुरू हो गया है. डीके शिवकुमार और सिद्धारमैया आज दिल्ली में शीर्ष नेतृत्व से मुलाकात करेंगे. जल्द ही स्थिति साफ हो जाएगी कि कर्नाटक में मुख्यमंत्री का पद कौन संभालेगा. इस बीच सुन्नी वक्फ बोर्ड ने कांग्रेस के सामने एक नई मांग उठाई है. सुन्नी उलेमा बोर्ड के मुस्लिम नेताओं ने कांग्रेस से मांग की है कि कर्नाटक में डिप्टी सीएम मुस्लिम समुदाय से होना चाहिए. इतना ही नहीं बोर्ड ने मुस्लिम समुदाय को कई अहम मंत्री पद देने की भी मांग की है.
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कर्नाटक वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष शफी सादी ने कहा कि हमने चुनाव से पहले ही कहा था कि डिप्टी सीएम मुस्लिम समुदाय से होना चाहिए. उन्होंने मांग की कि 5 मुस्लिम विधायकों को सरकार में शामिल किया जाए. इतना ही नहीं सादी ने मांग की कि इन विधायकों को गृह, राजस्व, स्वास्थ्य जैसे अन्य अच्छे विभागों का मंत्री बनाया जाए. सादी ने कहा कि चुनाव से पहले हमने कांग्रेस से मुस्लिम उम्मीदवारों को 30 सीटें देने की मांग की थी. कांग्रेस ने 15 सीटों पर मुस्लिम उम्मीदवार उतारे थे, जिनमें से 9 उम्मीदवारों ने जीत दर्ज की है.
शफी सादी ने कहा कि कर्नाटक चुनाव में कांग्रेस को सिर्फ मुसलमानों की वजह से 72 सीटें मिली है. उन्होंने कहा कि अब हमें धन्यवाद देना कांग्रेस की जिम्मेदारी है. उन्होंने कहा कि नौ मुस्लिम उम्मीदवार जीतकर आए हैं, इसलिए अब यह कांग्रेस पर निर्भर है कि वह किसे मंत्रिमंडल में शामिल करते हैं.
उन्होंने कहा कि हम कांग्रेस से केवल डिप्टी सीएम की मांग कर रहे हैं. कर्नाटक में आज तक कोई मुस्लिम मुख्यमंत्री नहीं बना है. उन्होंने कहा कि हमने एसएम कृष्णा के कार्यकाल की तरह कांग्रेस से पांच मुस्लिम मंत्री और एक डिप्टी सीएम की मांग की है. उन्होंने कहा कि आदर्श रूप से एक मुस्लिम मुख्यमंत्री होना चाहिए क्योंकि कर्नाटक के इतिहास में कभी कोई मुस्लिम मुख्यमंत्री नहीं हुआ और राज्य में 90 लाख लोग मुस्लिम हैं.
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