मुंबई: हमेशा अपने बयानों से चर्चा में रहने वाले शिवसेना नेता संजय राउत एक बार फिर संकट में फंसते नजर आ रहे हैं. पुलिस ने संजय राउत के खिलाफ महाराष्ट्र सरकार को ‘अवैध’ कहने और सरकारी अधिकारियों को उसके आदेशों का पालन न करने की सलाह देने के लिए उनके खिलाफ FIR दर्ज की है.
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राउत के खिलाफ मामला दर्ज करने के बाद नासिक पुलिस ने एक बयान जारी करते हुए कहा कि उद्धव ठाकरे गुट के नेता संजय राउत ने दो दिन पहले सरकारी गृह मंत्रालय ने एक प्रेस वार्ता में राज्य सरकार के खिलाफ बयान देते हुए कहा था कि सरकार अवैध है और इसके नियमों का पालन नहीं करना चाहिए. शिकायत मिलने पर मुंबई नाका पुलिस स्टेशन में संजय राउत के खिलाफ पुलिस और जनता के बीच विवाद पैदा करने को लेकर IPC की धारा 505(1)(B) के तहत मामला दर्ज किया गया है.
उद्धव गुट के नेता संजय राउत ने इस मामले को लेकर कहा कि मेरे ऊपर अगर कोई नासिक में मामला दर्ज हुआ है उसमें मैंने इतना ही कहा है कि सर्वोच्च न्यायालय के निर्णय के बाद मुझे लगता है कि ये सरकार गैर-कानूनी है तो ऐसे सरकार का आदेश अगर सरकारी कर्मचारी पालन करती हैं तो गैर-कानूनी हो जाएगा और आने वाले दिनों में उस पर कार्रवाई हो सकती है. तो आप सोच समझकर सरकार के आदेश का पालन करें. मुझ पर तो हमेशा दबाव डाला जाता है लेकिन हम दबाव के नीचे झुकने वाले नहीं हैं.
कोर्ट ने ठाकरे को राहत देने से किया था इनकार
महाराष्ट्र में उद्धव ठाकरे बनाम एकनाथ शिंदे मामले का 11 मई को सुप्रीम कोर्ट ने अपना फैसला सुनाया था, कोर्ट ने अपने फैसले में राज्यपाल की भूमिका पर भी सवाल खड़ा किया है. कोर्ट ने कहा कि आंतरिक पार्टी के विवादों को हल करने के लिए फ्लोर टेस्ट का इस्तेमाल नहीं किया जा सकता है. न तो संविधान और न ही कानून राज्यपाल को राजनीतिक क्षेत्र में प्रवेश करने और अंतर-पार्टी या अंतर-पार्टी विवादों में भूमिका निभाने का अधिकार देता है. इसके अलावा गोगावाले (शिंदे समूह) को शिवसेना पार्टी के मुख्य सचेतक के रूप में नियुक्त करने का स्पीकर का फैसला अवैध था. सुप्रीम कोर्ट का कहना है कि स्पीकर को राजनीतिक दल द्वारा नियुक्त व्हिप को ही मान्यता देनी चाहिए थी.
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