इजराइल और हमास के बीच पिछले 7 अक्टूबर से भीषण युद्ध जारी है. इसकी शुरूआत हमास ने की थी जब कई इजराइली ठिकानों पर ताबड़तोड़ हमले किए थे. हमास ने इजराइल पर 5000 से ज्यादा रॉकेट दागे थे. उसके बाद इजराइल भी जवाबी कार्रवाई शुरू की है. इजरायल-हमास युद्ध के बीच अमेरिका ने ईरान के खिलाफ बड़ा कदम उठाया है. अमेरिका ने ईरान के बैलिस्टिक मिसाइल और ड्रोन कार्यक्रमों का मुकाबला करने के लिए नए प्रतिबंधों की घोषणा की है.
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अमेरिका ने ईरान पर प्रतिबंध लगा दिए
अमेरिका के विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन ने यह जानकारी दी. उन्होंने कहा कि ईरान के बैलिस्टिक मिसाइल और यूएवी कार्यक्रमों का मुकाबला करने के लिए अमेरिका आज नए प्रतिबंध लगा रहा है. आपको बता दें कि अमेरिका ने ईरान पर प्रतिबंध ऐसे समय लगाया है जब सुरक्षा परिषद द्वारा 2015 में ईरान के बैलिस्टिक मिसाइल और ड्रोन कार्यक्रमों पर लगाए गए प्रतिबंध समाप्त होने वाले हैं. हालाँकि, उससे पहले ही अमेरिका ने ईरान पर नये प्रतिबंधों की घोषणा कर दी है.
ब्रिटेन, फ्रांस और जर्मनी पहले ही घोषणा कर चुके हैं
इससे पहले यूरोपीय देशों ने पिछले महीने एक संयुक्त बयान जारी किया था. ब्रिटेन, फ्रांस और जर्मनी ने ईरान पर मिसाइल और परमाणु प्रतिबंध बरकरार रखने का फैसला किया था. रिपोर्ट के अनुसार, एक संयुक्त बयान में उन्होंने कहा कि वे समझौते का अनुपालन नहीं करने के लिए ईरान पर अपने प्रतिबंध बरकरार रखेंगे.
वहीं इजराइल पहुंचे अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन ने एक साझा बयान जारी करते हुए कहा था कि अधिकांश फ़िलिस्तीनी हमास से जुड़े नहीं हैं. हमास फ़िलिस्तीनी लोगों का प्रतिनिधित्व नहीं करता है. हमास गाजा में निर्दोष लोगों को मानव ढाल के रूप में उपयोग कर रहा है, फ़िलिस्तीनी लोग भी बहुत पीड़ित हैं. मैं कल गाजा के अस्पताल में जानमाल की भारी क्षति से दुखी था. आज हमें जो जानकारी मिली है, उसके आधार पर प्रतीत होता है कि यह गाजा में एक आतंकवादी समूह द्वारा दागे गए रॉकेट के परिणामस्वरूप हुआ है. अमेरिका स्पष्ट रूप से संघर्ष के दौरान लोगों के जीवन की सुरक्षा के लिए खड़ा है.
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