इजराइल और हमास के बीच युद्ध बेहद खतरनाक स्तर पर पहुंच गया है, अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन जो पहले इजराइल के पक्ष में थे, उन्होंने इजराइल को चेतावनी देकर सभी को चौंका दिया है. बाइडेन ने इजराइल से कहा कि गाजा पर दोबारा कब्जा करना इजराइल की सबसे बड़ी गलती होगी. गौरतलब है कि इजराइल ने 11 लाख लोगों को उत्तरी गाजा छोड़ने का आदेश दिया है. इजरायली सेना के जवान और टैंक पहले ही गाजा में प्रवेश कर चुके हैं.
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साथ ही बाइडेन ने यह भी कहा कि हमास को पूरी तरह से खत्म करना भी जरूरी है और साथ ही फिलिस्तीन के स्वतंत्र देश बनने का मार्ग प्रशस्त करना भी जरूरी है. बाइडेन ने कहा कि मेरा मानना है कि हमास को खत्म करना जरूरी है, लेकिन यह भी जरूरी है कि फिलिस्तीन एक स्वतंत्र देश बने. अमेरिकी राष्ट्रपति ने इजराइल को चेतावनी दी है कि अगर उसने गाजा पर दोबारा कब्जा करने का इरादा किया तो वह बहुत बड़ी गलती करेगा. अमेरिकी राष्ट्रपति ने आगे दावा किया कि मेरे विचार से गाजा में जो हुआ, उसके लिए हमास जिम्मेदार है और हमास के चरमपंथी तत्व सभी फिलिस्तीनी लोगों का प्रतिनिधित्व नहीं करते हैं.
इजराइल गाजा पर कब्जा करने की कर रहा कोशिश
गौरतलब है कि 1967 में मध्य पूर्व में इजराइल ने फिलिस्तीन के वेस्ट बैंक, गाजा और पूर्वी येरुशलम पर कब्जा कर लिया था. अब वह गाजा पट्टी पर दोबारा कब्जा करने की कोशिश कर रहा है. बाइडेन ने ईरान को भी चेतावनी दी और कहा कि ईरान को इस युद्ध में आग में घी नहीं डालना चाहिए. हालांकि, दूसरी ओर, ईरान पहले ही कह चुका है कि इज़राइल हवाई हमले बंद करे नहीं तो ईरान इस युद्ध में कूदने से भी नहीं हिचकेगा.
इजराइल ने गाजा को खाली करने का दिया था अल्टीमेटम
इजराइल ने 11 लाख लोगों को उत्तरी गाजा छोड़ने का आदेश दिया था, ऐसा आदेश देने के पीछे वजह ये है कि गाजा पट्टी का क्षेत्रफल 365 वर्ग किलोमीटर है. इसकी सीमा एक तरफ भूमध्य सागर और तीन तरफ इजराइल और मिस्र से लगती है. हमास ने 2007 में गाजा पट्टी पर कब्जा कर लिया था. इजराइल ने जिस इलाके को 24 घंटे के अंदर खाली करने का आदेश दिया है वह पूरे गाजा का एक तिहाई हिस्सा है. इसमें गाजा सिटी के साथ-साथ दो मुख्य शरणार्थी शिविर, जबल्या कैंप और बीच कैंप भी शामिल हैं. इसके अलावा बेइत हनौन और बेइत लाहिया शहर भी इसी क्षेत्र में आते हैं. इस इलाके में करीब 11 लाख लोग रहते हैं. जिनमें से दो लाख लोग दो शरणार्थी शिविरों में रहते हैं. इस क्षेत्र में 6 अस्पताल और दो दर्जन क्लीनिक भी स्थित हैं.
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