मणिपुर हिंसा और साजिश मामले में सीबीआई एक्शन में आ गई है. सीबीआई ने हिंसा और साजिश से जुड़ी छह एफआईआर दर्ज की हैं. जांच एजेंसी इस मामले में अब तक 10 आरोपियों को गिरफ्तार कर चुकी है. कहा जा रहा है कि सामूहिक दुष्कर्म की घटना (वायरल वीडियो केस) को लेकर सीबीआई नई सातवीं एफआईआर भी दर्ज करने की तैयारी कर रही है.
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कोर्ट में हलफनामा दाखिल किया
मणिपुर में 86 दिनों से लगातार हिंसा की घटनाएं देखने को मिल रही हैं. इस बीच, केंद्र ने गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट को बताया कि उसने मणिपुर में दो महिलाओं की नग्न परेड के मामले की जांच सीबीआई को सौंप दी है. गृह मंत्रालय ने अपने सचिव अजय कुमार भल्ला के माध्यम से सुप्रीम कोर्ट में एक हलफनामा दायर किया है, जिसमें सुप्रीम कोर्ट से समयबद्ध तरीके से सुनवाई पूरी करने के लिए मामले को मणिपुर से बाहर स्थानांतरित करने का अनुरोध किया गया है.
मैतेई समुदाय का गृह मंत्रालय से संपर्क
सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा देने के साथ ही गृह मंत्रालय ने राज्य में शांति बहाल करने की कोशिशें भी तेज कर दी हैं. सूत्रों के मुताबिक, गृह मंत्री अमित शाह मैतेई और कुकी दोनों समुदायों के शीर्ष प्रतिनिधियों के संपर्क में हैं. दोनों समुदायों को बातचीत की मेज पर लाने की कोशिश की जा रही है. हालाँकि दोनों समुदायों के बीच सुलह को लेकर राय बंटी हुई है, लेकिन सरकार को उम्मीद है कि जल्द ही बातचीत में कोई सफलता मिलेगी.
जातीय हिंसा पर सुप्रीम कोर्ट सुनवाई करेगा
मणिपुर की नग्न परेड मामले में केंद्र सरकार ने अपना जवाब दाखिल कर दिया है. इसमें कहा गया है कि 26 जुलाई को लिखे एक पत्र के जरिए मणिपुर सरकार ने आगे की जांच के लिए मामले को सीबीआई को सौंपने की सिफारिश की है. गृह मंत्रालय ने 27 जुलाई को मामला सीबीआई को ट्रांसफर कर दिया था. पीठ अब मणिपुर में जातीय हिंसा से जुड़ी याचिकाओं पर 28 जुलाई को यानी आज सुनवाई करेगी.
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